इंदौर, 01 मार्च 2025 – मध्यप्रदेश हाईकोर्ट की इंदौर बेंच ने राजेंद्र @ राजू बनाम मध्यप्रदेश शासन मामले में अहम फैसला सुनाया है। कोर्ट ने आरोपी की धारा 302 आईपीसी के तहत आजीवन कारावास की सजा को धारा 304 भाग-1 आईपीसी के तहत संशोधित कर 10 साल के कठोर कारावास (RI) और ₹1 लाख के अर्थदंड में परिवर्तित कर दिया।

मामले की पृष्ठभूमि

यह मामला 22 जनवरी 2015 का है, जब धार जिले के गांव गुणावत में नाली के पानी के बहाव को लेकर हुए विवाद में राजेंद्र @ राजू ने अपने पड़ोसी बनेसिंह पर कुल्हाड़ी से हमला कर दिया था। हमले में घायल बनेसिंह को धार अस्पताल और फिर इंदौर के MYH अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां 23 जनवरी 2015 को उनकी मृत्यु हो गई। पुलिस ने इस मामले में राजेंद्र @ राजू, उनके भाई सुनील @ भूरू और बहनोई गिरीधारी को आरोपी बनाया था।

ट्रायल कोर्ट का फैसला

धार के पांचवें अपर सत्र न्यायाधीश (ASJ) दीपक शर्मा ने 28 जून 2019 को मामले का फैसला सुनाया था। ट्रायल कोर्ट ने राजेंद्र @ राजू को धारा 302 के तहत दोषी ठहराते हुए आजीवन कारावास और ₹1,000 के अर्थदंड की सजा दी थी, जबकि अन्य दो सह-आरोपियों को बरी कर दिया था।

हाईकोर्ट का अवलोकन

मध्यप्रदेश हाईकोर्ट की इंदौर खंडपीठ में न्यायमूर्ति विवेक रूसिया और न्यायमूर्ति गजेंद्र सिंह की खंडपीठ ने इस मामले की पुनः समीक्षा की। अदालत ने पाया कि घटना आवेग में घटित हुई और यह पूर्व नियोजित हत्या नहीं थी। इसके अलावा, पीड़ित और आरोपी पड़ोसी थे और पहले से नाली के पानी को लेकर विवाद चल रहा था।

अदालत ने भारतीय दंड संहिता की धारा 300 की पहली अपवाद (Exception-1) को लागू करते हुए हत्या (धारा 302) को गैर-इरादतन हत्या (धारा 304 भाग-1) में बदल दिया

संशोधित सजा

  • पहले की सजा: आजीवन कारावास और ₹1,000 का जुर्माना
  • संशोधित सजा: 10 साल का कठोर कारावास (RI) और ₹1 लाख का अर्थदंड
  • जुर्माना न भरने पर: 2 साल की अतिरिक्त सजा
  • ₹1 लाख की पूरी राशि पीड़ित की पत्नी संगीता को दी जाएगी

मामले से जुड़े अधिवक्ता

  • अभियोजन पक्ष (राज्य सरकार) की ओर से: अतिरिक्त महाधिवक्ता (AAG) संगीता शुक्ला
  • अभियुक्त राजेंद्र @ राजू की ओर से: वरिष्ठ अधिवक्ता राजेश तिवारी एवं अधिवक्ता आकाश चौहान

अदालत का निर्देश

अदालत ने जेल अधीक्षक को आदेश दिया कि फैसले की प्रति आरोपी को उपलब्ध कराई जाए। साथ ही, पीड़ित की पत्नी संगीता, निवासी तालवाड़ा, थाना नालछा, जिला धार को भी इस फैसले की प्रति भेजी जाए।

(रिपोर्ट: न्यूज़O2, इंदौर)

By Jitendra Singh Yadav

जितेंद्र सिंह यादव वरिष्ठ पत्रकार | आरटीआई कार्यकर्ता | राजनीतिक विश्लेषक 15+ वर्षों का पत्रकारिता अनुभव, UNI से जुड़े। Save Journalism Foundation व इंदौर वर्किंग जर्नलिस्ट्स यूनियन के संस्थापक। Indore Varta और NewsO2.com से जुड़े। निष्पक्ष पत्रकारिता व सामाजिक सरोकारों के लिए समर्पित।