इंदौर

मध्य प्रदेश उच्च न्यायालय ने कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी की उस याचिका पर आज राज्य शासन को नोटिस कर दिया है जिसमें उन पर इमरती देवी के खिलाफ कथित तौर पर आपत्तिजनक टिप्पणी करने के आरोप में एफआईआर दर्ज है।

आपको बता दें दरअसल पटवारी के विरुद्ध भाजपा की नेता और पूर्व मंत्री इमारती देवी ने ग्वालियर के डबरा थाना में एक एफआईआर दर्ज कराई है। भारतीय दंड संहिता की धारा 509 तथा अनुसूचित जाति-जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम की धारा 3(1)(r) के तहत प्रकरण पंजीबद्ध कराया गया है। पटवारी ने मध्य प्रदेश उच्च न्यायालय की मुख्य पीठ जबलपुर के समक्ष इस एफआईआर को ज़ीरो किए जाने की फरियाद की है। न्यायालय ने आज मध्य प्रदेश शासन के साथ-साथ इमरती देवी को भी नोटिस जारी किया है।

क्या है मामला ?

दरअसल मई 2024 की शुरुआत में लोक सभा चुनाव प्रचार के दौरान जीतू पटवारी का एक बयान वायरल हुआ था, जिसमें वे इमरती देवी के लिए कह रहे हैं,  ‘अब इमरती जी का रस खत्म हो गया है, जो अंदर चाशनी होती है, उनके लिए अब मैं कुछ बात नहीं कर रहा।‘ दरअसल पटवारी ने ये टिप्पणी ग्वालियर में एक पत्रकार के सवाल में दी थी। इसके बाद  भाजपा ने पटवारी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया था।

पटवारी मांग चुके हैं माफी

भाजपा महिला विंग के मुखर होने के बाद जीतू पटवारी ने सफाई देते हुए इमरती देवी से माफी मांगते हुए कहा था,  ”मेरे एक बयान को तोड़मरोड़ कर, गलत संदर्भ में प्रस्तुत किया जा रहा है। मेरी मंशा सिर्फ सवाल के जवाब को टालने की थी। श्रीमती इमरती जी मेरी बड़ी बहन जैसी हैं और बड़ी बहन मां के समान होती है। यदि फिर भी किसी को ठेस पहुंची हो, तो मैं खेद व्यक्त करता हूं।“

इसी टिप्पणी को लेकर इमरती देवी ने पटवारी के खिलाफ डबरा थाने में एफआईआर दर्ज करवाई है। पटवारी CRPC 482 के तहत एफआईआर रद्द करवाने के प्रयास कर रहे हैं।

By Neha Jain

नेहा जैन मध्यप्रदेश की जानी-मानी पत्रकार है। समाचार एजेंसी यूएनआई, हिंदुस्तान टाइम्स में लंबे समय सेवाएं दी है। सुश्री जैन इंदौर से प्रकाशित दैनिक पीपुल्स समाचार की संपादक रही है। इनकी कोविड-19 महामारी के दौरान की गई रिपोर्ट को देश और दुनिया ने सराहा। अपनी बेबाकी और तीखे सवालों के लिए वे विख्यात है।