सीबीडीटी ने आयकर मंजूरी प्रमाण पत्र के संबंध में स्पष्टीकरण जारी किया

नई दिल्ली, 20 अगस्त (न्यूज़O2): केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने आयकर मंजूरी प्रमाण पत्र (आईटीसीसी) के संबंध में स्पष्टीकरण जारी किया है, जिसमें कहा गया है कि सभी भारतीय नागरिकों को देश छोड़ने से पहले आयकर मंजूरी प्रमाण पत्र प्राप्त करने की आवश्यकता नहीं है।

सीबीडीटी ने कहा है कि आयकर अधिनियम की धारा 230 के अनुसार, केवल कुछ व्यक्तियों, जिनके संबंध में परिस्थितियाँ हैं जो आयकर मंजूरी प्रमाण पत्र प्राप्त करना आवश्यक बनाती हैं, उन्हें ही यह प्रमाण पत्र प्राप्त करना होता है।

सीबीडीटी ने कहा है कि आयकर मंजूरी प्रमाण पत्र केवल उन व्यक्तियों द्वारा प्राप्त किया जा सकता है जो भारत में निवास करते हैं और निम्नलिखित परिस्थितियों में हैं:

– जहां व्यक्ति गंभीर वित्तीय अनियमितताओं में शामिल है और उसकी उपस्थिति आयकर अधिनियम या संपत्ति कर अधिनियम के तहत मामलों की जांच में आवश्यक है और संभावना है कि उसके खिलाफ कर मांग उठाई जाएगी।

– जहां व्यक्ति के पास 10 लाख रुपये से अधिक के प्रत्यक्ष कर बकाया हैं जो किसी भी प्राधिकरण द्वारा रोके नहीं गए हैं।

सीबीडीटी ने कहा है कि यह स्पष्टीकरण आयकर मंजूरी प्रमाण पत्र के संबंध में फैल रही गलत सूचना को दूर करने के लिए जारी किया गया है।