इंदौर 22 अगस्त (न्यूज़ओ2)

“मध्य प्रदेश के अस्पतालों में नौ जीवनरक्षक दवाओं पर प्रतिबंध लगा दिया गया है! ये दवाएं गुणवत्ता में कमी और स्वास्थ्य के लिए हानिकारक पाए जाने के कारण प्रतिबंधित की गई हैं।

ये दवाएं हुई प्रतिबंधित :

डिप्टो-प्रोवेरा (कॉन्ट्रासेप्टिव इंजेक्शन)

ओमेक्सेल (ब्लड प्रेशर की दवा)

कार्डियकोर (हृदय रोग की दवा)

न्यूरोबियन (नसों की दवा)

रेबेटोल (टीबी की दवा)

ज़ोलड्रोनेट (कैंसर की दवा)

वैल्प्रोएट (मिर्गी की दवा)

फ्लुकैनाजोल (एंटिफंगल दवा)

सिप्रोफ्लोक्सासिन (एंटीबायोटिक)

स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने बताया कि इन दवाओं की गुणवत्ता में कमी पाई गई है, जो मरीजों के स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हो सकती है। इसलिए, इन दवाओं को प्रतिबंधित करने का निर्णय लिया गया है।

इन दवाओं की गुणवत्ता की जांच मध्य प्रदेश के स्वास्थ्य विभाग द्वारा कराई गई थी, जिसके बाद यह निर्णय लिया गया है।

इस निर्णय से मरीजों की सुरक्षा सुनिश्चित होगी और उन्हें बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान की जा सकेंगी।”

By Neha Jain

नेहा जैन मध्यप्रदेश की जानी-मानी पत्रकार है। समाचार एजेंसी यूएनआई, हिंदुस्तान टाइम्स में लंबे समय सेवाएं दी है। सुश्री जैन इंदौर से प्रकाशित दैनिक पीपुल्स समाचार की संपादक रही है। इनकी कोविड-19 महामारी के दौरान की गई रिपोर्ट को देश और दुनिया ने सराहा। अपनी बेबाकी और तीखे सवालों के लिए वे विख्यात है।